July 28, 2011

NOSTALGIA......

Memories chase ...expectations revive, and,life goes on

''जब कभी भी
तुम्हारे सानिध्य की 
स्मृति अंगड़ाई लेती है,
रात्रि के सन्नाटे पर
कोहरा
गहराने लगता ,है
तब अनायास ही
मै कह उठता हूँ:
'ऐ वक्त 
मंथर गति से चल
.शायद 
वो लोट  ही आये"

1 comment:

  1. this is true.we often feel that we could go back in time to meet our beloveds!

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